मुंबई/स्वराज टुडे : हाल ही जयपुर में आयोजित देश की सबसे बड़ी किशोर सौंदर्य प्रतियोगिता मिस टीन दीवा 2024 का आयोजन किया गया। देश के इस सबसे बड़े सौंदर्य प्रतियोगिता में पटना की 15 वर्षीय तनिष्का शर्मा ने मिस टीन अर्थ इंडिया का खिताब जीत कर विश्वभर में बिहार का नाम रौशन किया है। तनिष्का का जन्म, पालन पोषण सब पटना में हुआ है और अब देश की सबसे बड़ी फैशन डिजाइनर बनना चाहती है। इस सफलता से उत्साहित तनिष्का कहती है, इस पेजेंट में भाग लेने की वजह खुद को शारीरिक और मानसिक दोनों तौर पर बेहतर बनाने की कोशिश थी। लॉकडाउन के दौरान मेरा वजन 86 किलो हो गया था, इसे कम करने में लगभग सात महीने का वक्त लगा 21 किलो वजन घटाने के बाद एहसास हुआ कि देश में हर दूसरी लड़की इस समस्या से पीड़ित है। उनके अंदर आत्मविश्वास दिलाने के लिए मैंने इस पेजेंट में भाग लिया,मेहनत कर जीत हासिल की है। अभी मैं इंटरनेशनल मिस टीन अर्थ दीवा की तैयारी कर रही हूं और उस टाइटल को जीत कर फैशन उद्योग में बिहार के लिए बहुत कुछ करूंगी।
जीत से पहले तनिष्का को ओपनिंग डांस,स्वीमवियर राउंड, ईवनिंग गाउन राउंड के साथ ही टाइटल राउंड से गुजरना पड़ा। जिसमें देश भर से कई कंटेस्टेंट ने हिस्सा लिया। काटें की टक्कर के बीच तनिष्का को विजेता चुना गया और सैश पहनाकर सम्मानित किया गया। पटना की रहने वाली 15 वर्षीय तनिष्का के पिता डॉ विकास शर्मा पशु चिकित्सक हैं और मां नीतू शर्मा इंजीनियर। तनिष्का ने अपनी पढ़ाई संत जोसेफ कॉन्वेंट स्कूल से की है और अब एक बड़ी फैशन डिजाइनर बनना चाहती है। तनिष्का शर्मा अगले साल मिस टीन अर्थ में भारत का प्रतिनिधित्व करेंगी। तनिष्का शर्मा की तैयारी अभी से शुरू हो चुकी है और काफी प्रेरणादायक है क्योंकि उन्होंने मिस टीन दिवा की तैयारी के लिए 21 किलो वजन कम किया था । उन्होंने बताया कि वह अभी से डॉक्टरों और विशेषज्ञों के कड़े मार्गदर्शन में हैं। मिस टीन अर्थ हर लड़की का सपना है क्योंकि मैं हमेशा पर्यावरण के मुद्दों पर काम करती रही हूं और एक पर्यावरणविद् होने के नाते मेरा सपना मिस टीन अर्थ का खिताब जीतना है। मिस टीन अर्थ का खिताब जीत बड़े मंच से बड़े संख्या में लोगो को पर्यावरण के लिए जागरूक कर पाऊंगी।
तनिष्का ने राष्ट्रीय निदेशक निखिल आनंद को आभार जताया है और कहा है मेरे सहित पूरे देश को यह मंच मुहैया कराने के लिए धन्यवाद। तनिष्का की पेजेंट मेंटर रितिका रामत्री थी जिन्होंने समय-समय पर उनका मार्गदर्शन किया।
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